पूरे गांव के लोग तैयार करते हैं एक प्रोडक्ट, देश के कई राज्यों में है इसकी डिमांड


विशाल कुमार/ सारण: जिले के गरखा प्रखंड अंतर्गत मीठेपुर बिन टोली गांव के लोग एक खास प्रोडक्ट तैयार करने को लेकर काफी मशहूर हैं. इस प्रोडक्ट को पूरे साल प्रत्येक घर के लोग तैयार करते हैं. जिस प्रोडक्ट को खरीदने के लिए व्यापारी पटना उत्तर प्रदेश दिल्ली सहित देश के अन्य राज्य से पहुंचते हैं.

बिहार के मशहूर छठ महापर्व में जिस दौरा का उपयोग में लाया जाता है. उसी दौरा को इस पूरे गांव के लोग तैयार करते हैं. जिसको बेचकर घर का जीविका पार्जन चलता है और बच्चों को पढ़ने लिखाने के साथ-साथ साथ विवाह भी इसी खर्चे से किया जाता है. लगभग यहां 700 घर इस आट से जुड़े हुए हैं. जो बास के दौड़ा बनाने का कार्य करते हैं.प्रतिदिन एक व्यक्ति 6 से 8 दौरा दिन भर में तैयार करते हैं. एक दौड़े की कीमत 80 से 150 रुपए है. जो मार्केट में 250 रुपए से लेकर ₹300 में बेचा जाता है. जहां से व्यापारी जाकर मात्र ₹80 में खरीदने हैं. और मार्केट में ले जाकर ₹300 तक बेच देते हैं.

सुरेश महतो ने बताया कि, पिछले 20 वर्षो से मैं दौरा तैयार कर रहा हूं. बताया कि दिन में 5 से 6 दौरा तैयार कर लेता हूं. जो एक दौरा व्यापारी से 70 से 80 रुपया में बेचा जाता है. बताया कि इस कारोबार से पूरे गांव के लोग जुड़े हुए हैं. 700 से अधिक लोग दौरे को तैयार करते हैं और बेचकर पैसा कमाते हैं. बताया कि इसी के खर्चे से बच्चों को पढ़ना, घर का खर्च चलाना और शादी करना, घर बनाने से लेकर सभी काम इसी के खर्चे से किया जाता है.

अखिलेश महतो ने बताया कि यहा का दौरा पटना दिल्ली मुंबई उत्तर प्रदेश देश के अन्य राज्य में जाता है. बताया कि व्यापारी यहां एडवांस पैसा दे जाते हैं.और दौरा बनवाते हैं, जिन्हें 70 से 80 रुपए में एक दौड़ा दिया जाता है. बताया कि इस गांव के लिए यह मुख्य रोजगार बन गया है. कहा कि यह प्रोडक्ट तैयार करने में हम लोगों को काफी सहूलियत इसलिए होता है. क्योंकि यहां आस-पास में बास काफी सस्ते दर पर मिल जाता है. जिस से दौरा तैयार होता है.

FIRST PUBLISHED : September 4, 2024, 24:56 IST



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