मऊ पुलिस का फरमान… दिवाली पर लक्ष्मी-गणेश रखने वाले हो जाएं सावधान! जानें पूरा मामला


मऊ: अगर आप इस दीपावली पर अपने गांव में लक्ष्मी जी और गणेश जी की प्रतिमा स्थापित कर पूजा-पाठ करने की योजना बना रहे हैं, तो इसके लिए प्रशासनिक अनुमति लेना अनिवार्य है. सरकार ने नई मूर्ति स्थापना के संबंध में कई नियम लागू किए हैं, जिनका पालन करना आवश्यक होगा. इस वर्ष मूर्ति स्थापना के लिए कई नियमों में बदलाव किया गया है. कोई भी नई मूर्ति बिना प्रशासनिक अनुमति के स्थापित नहीं की जा सकती. जो लोग पहले से यह परंपरा निभाते आ रहे हैं, उन्हें भी इन नए नियमों का पालन करना होगा.

प्रशासन द्वारा जारी किए गए दिशा-निर्देशों के अनुसार, प्रत्येक पंडाल में सीसीटीवी कैमरा लगाना अनिवार्य कर दिया गया है. इसके अलावा, पंडालों में किसी भी प्रकार के अभद्र गाने बजाने पर सख्त प्रतिबंध लगाया गया है, और डीजे की ध्वनि को भी नियंत्रित रखने के आदेश दिए गए हैं. पंडाल के बाहर सुरक्षा के लिए बालू भरी बाल्टी, पानी, और आग बुझाने वाले स्प्रे का इंतजाम करना जरूरी होगा.

कमेटी सदस्यों का रिकॉर्ड प्रशासन को देना होगा
प्रत्येक मूर्ति आयोजन समिति के सभी सदस्यों का रिकॉर्ड पुलिस प्रशासन को देना अनिवार्य है, ताकि उनकी पहचान सुनिश्चित की जा सके. यह कदम सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत बनाने के लिए उठाया गया है.

पुलिस की निगरानी में होंगे आयोजन
प्रशासन द्वारा जिन मूर्ति आयोजकों को अनुमति दी गई है, उनके पंडालों में पुलिस की निगरानी अनिवार्य होगी. हर पंडाल में दो पुलिसकर्मी वर्दी में और एक पुलिसकर्मी सिविल ड्रेस में तैनात रहेगा, ताकि किसी भी अनहोनी या अव्यवस्था की स्थिति में तत्काल कार्रवाई की जा सके.

नियमों का उल्लंघन करने पर होगी सख्त कार्रवाई
जिला प्रशासन ने साफ तौर पर चेतावनी दी है कि अगर कोई व्यक्ति इन नियमों का उल्लंघन करता है, तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. प्रशासन ने सभी मूर्ति आयोजकों को बैठक में ये निर्देश स्पष्ट रूप से दे दिए हैं.

नए परंपराओं की शुरुआत पर रोक
प्रशासन ने यह भी साफ किया है कि मूर्ति स्थापना से पहले यह सुनिश्चित करना आवश्यक है कि आपके पास प्रशासन की अनुमति है या नहीं. बिना अनुमति के मूर्ति स्थापित करने या किसी नई परंपरा को शुरू करने की इजाजत नहीं दी जाएगी.

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