गणतंत्र दिवस में ALH ना होना एक सेटबैक, जल्द वापसी करेंगे स्वदेशी हेलिकॉप्टर, बाकी तैयारी है पूरी


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Republic day parade: इस बार का गणतंत्र दिवस समारोह संविधान के 75 साल के होने पर फोकस्ड है. दो झांकियों में भी इसकी झलक दिखाई देगी. प्रधानमंत्री सुबह वॉर मेमोरियल पर वीर सैनिकों को श्रद्धा सुमन अर्पित करेंगे, रा…और पढ़ें

गणतंत्र दिवस में ALH ना होना एक सेटबैक, बाकी तैयारी है पूरी

गणतंत्र दिवस समारोह पर होगी दुनिया की नजर

Republic day parade: हमेशा से ही फ्लाइ पास्ट गणतंत्र दिवस समारोह का सबसे बड़ा आकर्षण का केंद्र रहा है. इस साल कर्तव्य पथ पर होने वाले फ्लाइ पास्ट में कुल 44  एयरक्रफ्ट हिस्सा लेंगे. इस बार स्वदेशी तेजस और ALH ध्रुव फ्लाइ पास्ट का हिस्सा नहीं होगा. ALH ध्रुव के ना होने के पीछे का कारण है कोस्ट गार्ड के हेलिकॉप्टर हादसा. पोरबंदर में 5 जनवरी को हुए कोस्ट गार्ड हेलिकॉप्टर क्रैश के बाद से सभी 300 से ज्यादा ALH के उड़ान पर पाबंदी लगा दी गई थी. यह पाबंदी अभी जारी है. ना तो सेना दिवस पर ही ALH उड़ाए गए और अब गणतंत्र दिवस पर भी नहीं उड़ाए जाएंगे. रक्षा सचिव आर के सिंह ने इस बात को लेकर चिंता जताई. रक्षा सचिव ने कहा यह सेट बैक है. साथ ही यह उम्मीद जताई कि जल्द इनकी वापसी होगी. इस साल कोई भी स्वदेशी एयरक्राफ्ट फ्लाइ पास्ट का हिस्सा नहीं होगा.

परेड में बड़ा बदलाव
कोरोना के बाद से ही गणतंत्र दिवस समारोह में कई तरह के बदलाव दिखे. इस साल भी परेड कुछ अलग तरह की ही होने वाली है. पहले गणतंत्र दिवस की परेड मिलिट्री परेड के तौर पर हुआ करती थी. अब यह सांस्कृतिक कल्चर को बढ़ावा दिया जा रहा है. परेड सुबह 1030 बजे शुरु होगी जो कि 90 मिनट तक चलेगी. खास बात तो यह है कि 300 कलाकार भारतीय संगीत वाद्ययंत्र बजाते हुए परेड की शुरुआत करेंगे. परेड की शुरुआत अब सेना नहीं बल्कि कलाकारों के जरिए होती है. साल 2024 में 100 महिला कलाकारों ने शंख, नादस्वरम, नगाड़ा वाद्ययंत्र का प्रदर्शन करते हुए परेड को शुरुआत की थी. इस साल भी पूरे कर्तव्य पथ पर एक साथ 5000 कलाकार अपनी प्रस्तुति देंगे.

मुख्य अतिथि इंडोनेशिया के राष्ट्रपति
पिछले कुछ साल से जिस भी देश के मुख्य अतिथि को निमंत्रण दिया जाता है तो उनके साथ उस देश का मार्चिंग दस्ता और बैंड कर्तव्य पथ पर सुप्रीम कमांडर को सल्यूट करते है. इस बार के मुख्य अतिथि इंडोनेशिया के राष्ट्रपति प्रबोवो सुबुयांतो है. इंडोनेशिया के कुल 350 सदसीय शामिल होंगे. इनमें मार्चिंग दस्ता और बैंड भी कदमताल करता नजार आएगा. इंडोनेशिया के साथ ब्रह्मोस की संभावित डील पर रक्षा सचिव ने प्रेस कॉंफ्रेंस में कोई ठोस जवाब नहीं दिया. फिलीपींस के बाद इंडोनेशिया ब्रह्मोस की खरीदने का इच्छुक है. रिपोर्ट के मुताबिक बातचीत एडवांस स्टेज पर है. माना तो यह जा रहा है कि इस दौरे के दौरान डील को लेकर कुछ अहम एलान होने की संभावनाएं है.

शो स्टॉपर – वायुसेना
सबकी नजर तो वायुसेना के फ्लाइ पास्ट पर होती है. इस बार आम जनता को थोड़ी सी मायूसी जरूर होगी. इस बार एक भी स्वदेशी एयरक्राफ्ट फ्लाई पास्ट का हिस्सा नहीं है. तेजस सिंगल इंजन फाइटर होने के चलते हिस्सा नहीं ले रहा है. एडवांस लाइट हेलिकॉप्टर (ALH) ध्रुव भी इस साल शामिल नहीं हो रहा है.  कुल 44 एयरक्राफ्ट जिनमें 22 फाइटर, 11 ट्रांसपोर्ट और 7 हेलिकॉप्टर 12 फॉर्मेशन में उड़ान भरेंगे. इस बार तेजस भी हिस्सा नहीं ले रहा है. यह सभी 10 अलग अलग एयर बेस से उड़ान भर कर कर्तव्य पथ पर सुप्रीम कमॉडर स्ल्यूट करेंगे.

77000 से दर्शक देखेंगे कर्तव्यपथ पर परेड
इस साल गणतंत्र दिवस समारोह को कर्तव्यपथ पर देखने वालों दर्शकों की संख्या 77000 की होगी. जन भागीदारी के तहत कुल 32 हज़ार टिकट बिक चुके हैं और बाकी निमंत्रण हैं. 10 हजार विशेष अतिथि भी शामिल है. इस साल इस बात के खास इंतेजाम भी किए गए हैं. ताकी कि परेड देखने आने वालों को कोई असुविधा ना हो. Rashtraparv पोर्टल और कर्तव्य पथ के आस पास क्यू आर कोड भी लगाए जाएंगे. जिसके जरिए अपनी सीट की जानकारी भी आसानी से मिल जाएगी. कर्तव्य पथ तक पहुंचने के लिए दिल्ली मेट्रो सुबह 4 बजे से शुरू हो जाएगी. परेड के मान्य पास और टिकट वाले यात्री आसानी से सफर कर सकेंगे. इसके अलावा पार्क एंड राइड सिस्टम के जरिए कनॉट प्लेस पालिका पार्किंग और जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम में अपनी गडियां पार्क कर के आसानी से कर्तव्य पथ तक पहुंच सकते हैं.

भगवान बिसरा मुंडा और सरदार पटेल झांकी
इस बार कुल 31 झांकियां कर्तव्यपथ से लाल क़िले तक जाएंगे जिसमें 16 राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों की है तो 15 मंत्रालयों और सर्विसेज की होंगी. भगवान बिसरा मुंडा और सरदार पटेल की 150 जयंती वर्ष के चलते दो झांकियों में उनकी झलक भी दिखाई देगी. झांकी को शामिल ना किए जाने के लेकर हर बार विवाद होता है. इस साल भी दिल्ली की झांकी ना होने के लेकर बवाल मचा था. रक्षा मंत्रालय ने ऐसी नाराजगी भविष्य में न हो इसके लिए एक रोल ऑन प्लान बनाया था. यानी की हर राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों की झांकी हर तीन साल में एक बार जरूर शामिल की जाएगी. इसके लिए बाकायदा राज्यों के साथ MOU पर भी दस्तखत किए जा चुके है. इस साल 18 मार्चिंग दस्ते और 15 बैंड परेड का हिस्सा होंगे.

थलसेना के मैकेनाइज्ड कॉलम
भारतीय सेना का मेन बैटल टैंक T-90 भीष्म, मैकेनाइज्ड इन्फेंट्री के BMP सारथ और नाग मिसाइल सिस्टम, क्विक रिएक्शन फ़ाइटिंग वेहिकल नंदीघोष, पिनाका मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर अग्निबाण , शर्ट स्पैन ब्रिज सिस्टम, बैटल फ़ालिज सरवेलांस सिस्टम संजय, ऑल टेरेन वेहिक्ल चेतक, आकाश एयर डिफेंस सिस्टम, ब्रह्मोस मिसाइल सिस्टम, मल्टी बैरल रॉकेट लॉंचर BM-21 ग्रैड, लाइट स्ट्राइ वेहिकल बजरंग इस बार कर्तव्य पर नजर आएंगे.

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