पीलीभीत के गुरु जी का कमाल, स्कूल को बना दिया ट्रेनिंग सेंटर, छात्र कर रहे पढ़ाई के साथ कमाई
सृजित अवस्थी/पीलीभीत : आमतौर पर नौकरी या बिजनेस का प्रश्न बच्चों के सामने पढ़ाई पूरी करने के बाद ही शुरू होती है. लेकिन पीलीभीत के कुछ स्कूली छात्र पढ़ाई के साथ ही साथ कमाई भी कर रहे हैं. ये कमाई भी उनकी पढ़ाई से ही संबंधित है. इन छात्रों को आत्मनिर्भर बना रहे हैं पीलीभीत के जाने-माने शिक्षक डॉ. आर पी गंगवार.
उत्तरप्रदेश के पीलीभीत शहर के गौहनिया चौराहे पर स्थित ड्रमंड राजकीय इंटर कॉलेज शहर का एकमात्र कृषि विद्यालय है. इस विद्यालय की नींव ब्रिटिश कलेक्टर आर ड्रमंड ने तकरीबन 120 साल पहले रखी थी. यह विद्यालय कृषि विज्ञान की पढ़ाई के लिए पीलीभीत ही नहीं बल्कि आसपास के जिलों ने भी प्रसिद्ध है. वहीं इस विद्यालय में बतौर कृषि विज्ञान प्रवक्ता अपनी सेवाएं दे रहे डॉ. आर पी गंगवार बच्चों को कृषि विज्ञान की शिक्षा देने के लिए नया प्रयोग करते रहते हैं. जहां बीते सालों डॉ. आर पी गंगवार ने कृषि विज्ञान की कक्षाओं को स्मार्ट क्लास में बदला था. वहीं अब वे छात्रों को कृषि विज्ञान की पढ़ाई के साथ ही साथ व्यावहारिक ज्ञान भी दे रहे हैं. हाल ही में उन्होंने कॉलेज परिसर में मशरूम की खेती बच्चों को सिखाने के लिए एक डेमोंस्ट्रेशन सेंटर बनाया है.
पढ़ाई के साथ ही साथ कमाई
डॉ. आर पी गंगवार ने बताया कि बच्चों को कृषि का व्यावहारिक ज्ञान व आत्मनिर्भर बनाने के लिहाज से यह पहल शुरू की है. कॉलेज परिसर में स्थित इस लैब में वे बच्चों को मशरूम की खेती के गुर सिखाया जाता है. जिसके बाद छात्र अपने घरों में मशरूम की खेती कर पढ़ाई के दौरान ही कमाई कर रहे हैं. इतना ही नहीं इस पहल के चलते छात्रों के स्थानीय बेरोजगार साथियों को भी रोजगार मिल रहा है.
पराली प्रबंधन से दूर होगा प्रदूषण
डॉ. आर पी गंगवार बताते हैं कि पराली प्रबंधन पूरे उत्तर भारत की एक बड़ी समस्या है. अगर पराली का उपयोग मशरूम उत्पादन में किया जाए तो काफी हद तक प्रदूषण नियंत्रण किया जा सकता है. वहीं छात्रों को यहां पराली प्रबंधन की ट्रेनिंग दी जा रही है. वहीं उन्हें अपने स्थानीय किसानों को भी पराली प्रबंधन के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है.
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FIRST PUBLISHED : February 21, 2024, 17:34 IST