मार्शल आर्ट्स की इस फॉर्म में राहुल गांधी को मिली है ब्लैक बेल्ट, ऐसी होती है ट्रेनिंग
<p>देश में विपक्ष के नेता राहुल गांधी इन दिनों एक बार फिर से चर्चा में है. दरअसल बीजेपी के नेता उन पर आरोप लगा रहे हैं कि उन्होंने संसद में दो बीजेपी सांसदों को धक्का दिया है, जिससे सांसद जख्मी हो गये हैं. वहीं राहुल गांधी को लेकर सोशल मीडिया पर कहा जा रहा है कि वो मार्शल आर्ट्स में ब्लैक बेल्ट हैं. आज हम आपको बताएंगे कि राहुल गांधी को मार्शल आर्ट्स के किस फॉर्म में ब्लैक बेल्ट मिला है. </p>
<h2> विपक्ष के नेता राहुल गांधी</h2>
<p>बता दें कि राहुल गांधी ऐकिडो में ब्लैक बेल्ट हैं. ऐकिडो जुजुत्सु का ही एक पार्ट है, इसे 20 वीं सदी की शुरूआत में मार्शल आर्टिस्ट मोरीहेई उशीबा द्वारा विकसित किया गया था. ऐकिडो का शाब्दिक अर्थ ऊर्जा में सामंजस्य स्थापित करना है, इसे बाकी मार्शल आर्ट से अलग माना जाता है. जानकारी के मुताबिक ऐकिडो का सिद्धांत लक्ष्य संघर्ष को अहिंसक तरीके से समाप्त करना है. इसमें अपने प्रतिद्वंदी पर हावी होने की जगह हमलों को टालना और ताकता का मुकाबला करने पर जोर दिया जाता है. आसान भाषा में इसमें अपने साथ सामने हमलावर को बचाना भी होता है. </p>
<h2>राहुल गांधी ब्लैक बेल्ट</h2>
<p>विपक्ष के नेता राहुल गांधी का अक्सर वीडियो और फोटो सोशल मीडिया पर वायरल होता है, जिसमें वो छात्रों को मार्शल आर्ट के बारे में बताते हैं. इतना ही नहीं भारत जोड़ों यात्रा के दौरान भी राहुल गांधी सुबह के समय स्कूली छात्रों को मार्शल आर्ट की ट्रेनिंग देते हुए नजर आते थे. केरल चुनाव प्रचार के दौरान भी वो कोच्चि के एक कॉलेज में स्टूडेंट्स को जापानी मार्शल आर्ट के चुनिंदा पैंतरे सिखा रहे थे. </p>
<h2>आक्रामकता से ज्यादा बचाना होता है मकसद</h2>
<p>अकिदो मार्शल आर्ट का वो रूप है, जिसमें आक्रामकता से ज्यादा मन को शांत रखने पर जोर दिया जाता है. यही कारण है कि ये हमले से ज्यादा सेल्फ डिफेंस यानी आत्मरक्षा सिखाने वाली कला है. अकिदो में इसलिए ही इसका खास ध्यान रखा जाता है कि सामने वाले को गंभीर चोट न आए. राहुल गांधी इस मार्शल आर्ट में ब्लैक बेल्ट कहलाते हैं.</p>
<h2>जापान से हुई है इसकी शुरूआत</h2>
<p>बीसवीं सदी में जापान के एक शख्स Morihei Ueshiba ने इस आर्ट फॉर्म की शुरुआत की थी. वैसे जापान में तब चल रहे ज्यादातर मार्शल आर्ट आक्रामक तौर-तरीकों वाले थे, जिसके बीच अकिदो एकदम अलग लगता था. इसके संस्थापक मोरिहेई ने इसे मन की शांति के लिए तैयार किया था.</p>
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