After Nuh Violence People Of Chanderi Village Helping Victims From Food To Marriage – नूंह हिंसा के बाद इस गांव के लोग बने फरिश्ते, पीड़ितों के खाने-पीने से लेकर शादी में भी कर रहे मदद


नूंह हिंसा के बाद इस गांव के लोग बने 'फरिश्ते', पीड़ितों के खाने-पीने से लेकर शादी में भी कर रहे मदद

सीआरपीएफ के रिटायर कमांडो हिदायत खान अपनी टीम के साथ नल्हड़ गांव में जरूरतमंदों की मदद में लगे हुए हैं.

नूंह:

हरियाणा के नूंह हिंसा के बाद जब अधिकतर लोग गांवों से पलायन कर चुके थे. कोई किसी की मदद को तैयार नहीं था. उस समय नूंह जिले के चंदेनी गांव के लोग जरूरतमंदों के लिए फरिश्ते बनकर सामने आए. चंदेनी गांव के लोग न केवल पिछले 4 दिन से राजकीय शहीद हसन खान मेवाती मेडिकल कॉलेज नल्हड़ में 700- 800 लोगों को रोजाना खाना खिला रहे हैं. साथ ही बच्चों के दूध से लेकर बड़ों के चाय तक का इंतजाम भी कर रहे हैं.

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भले ही शोभा यात्रा के दौरान नूंह शहर में हिंसा के बाद हिंदू-मुस्लिम समुदाय के बीच तनाव पैदा करने की कोशिश हुई हो, लेकिन एक बार फिर से दोनों समुदाय के लोग एक-दूसरे की मदद के लिए आगे आ रहे हैं. फिर से पुराने भाईचारे को पटरी पर लाने के लिए जी तोड़ कोशिश कर रहे हैं. इतना ही नहीं, सीआरपीएफ के कमांडो हिदायत खान 31 जुलाई को रिटायर हुए और 1 अगस्त को नूंह पहुंचे.

जब वह घर पहुंचे, तो इलाके में हालात अच्छे नहीं थे. कर्फ्यू लगा हुआ था. लोग पूरी तरह से डरे हुए थे. उन्होंने ऐसे मुश्किल वक्त में लोगों की मदद करने की सोची. रिटायर कमांडो हिदायत खान नल्हड़ में मरीजों व तीमारदारों की मदद की. साथ ही गांव के जरूरतमंदों के लिए खाने का इंतजाम किया.

इसके अलावा उन्होंने कैराका गांव में महिला को अपनी बेटी की शादी की चिंता परेशान कर रही थी. शादी 8 अगस्त यानी आज ही थी.दंगे की वजह से बाजार बंद हो गए और महिला शादी का सामान नहीं जोड़ पाई. ये खबर मिलते ही हिदायत खान कमांडो अपने साथियों के साथ कैराका गांव पहुंचे. उन्होंने महिला की बेटी की शादी के लिए बेड, संदूक, अलमारी, कूलर, 101 बर्तन सहित हर जरूरत का सामान मुहैया कराया. 

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