Arvind Kejriwal Now Meets CPI Leader D Raja Seeks Support Against Centres Ordinance – अरविंद केजरीवाल ने अब भाकपा नेता डी राजा से की मुलाकात, केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ मांगा समर्थन


अरविंद केजरीवाल ने अब भाकपा नेता डी राजा से की मुलाकात, केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ मांगा समर्थन

दिल्‍ली के मुख्‍यमंत्री ने कहा- इस अध्यादेश के बाद अधिकारी, मंत्रियों की नहीं सुन रहे

नई दिल्‍ली:

आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल इन दिनों दिल्ली में अधिकारियों के ट्रांसफर और पोस्टिंग के अधिकार को लेकर केंद्र सरकार द्वारा लाए गए अध्यादेश के खिलाफ विपक्षी दलों का समर्थन जुटा रहे हैं. अब तक वह कई पार्टियों के नेताओं से मिलकर उनका समर्थन मांग चुके हैं. इसी क्रम में मुख्‍यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने आज भाकपा नेता डी राजा से मुलाक़ात की. इस मुलाकात के बाद डी राजा ने कहा कि हमने बात की कि कैसे अध्यादेश के ज़रिए दिल्ली सरकार को पावर लेस किया जा रहा है. हमारी पार्टी सीपीआई डिमांड करती रही है कि दिल्ली को ‘फुल स्टेट हुड’ मिले, क्योंकि यहां चुनी हुई सरकार है. ऐसा ही केस पुदुच्चेरी का है.

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डी राजा ने कहा, “हम केंद्र के अध्यादेश का विरोध करते हैं. जब भी यह बिल के रूप में संसद में आएगा, हम उसका विरोध करेंगे. हम दिल्ली सरकार के साथ हैं. कई पार्टी इस मुद्दे पर दिल्ली सरकार का समर्थन कर रही हैं. केंद्र सरकार राज्यों को परेशान कर रही है. अन्य राज्यों में भी यह दिख रहा है कि राज्यों को टारगेट किया जा रहा है. यह दिल्ली के लोगों का अपमान है, जिन्होंने अपनी सरकार चुनी है. सदन के बाहर भी हम इस अध्यादेश का विरोध कर रहे हैं.”

वहीं, अरविंद केजरीवाल ने कहा, “मैं कामरेड राजा का धन्यवाद करना चाहता हूं. मैं इस बिल्डिंग में पहले खूब आता था, जब एनजीओ में काम करता था. सीएम बनने के बाद पहली बार आया हूं. शुक्रिया करता हूं कि सीपीआई ने दिल्ली के लोगों के लिए अध्यादेश के ख़िलाफ़ अपना समर्थन दिया है. मैं जितना स्टडी कर रहा हूं, ऐसा नहीं है कि दिल्ली हाफ़ स्टेट है, इसलिए ऐसा अध्यादेश आया है. कोई भी फुल स्टेट यह न समझे कि यह दिल्ली का मामला है. यह कल को राजस्थान और पंजाब में भी आ सकता है.”

दिल्‍ली के मुख्‍यमंत्री ने कहा, “इस अध्यादेश के बाद अधिकारी, मंत्रियों की नहीं सुन रहे. विजिलेंस सेक्रेटरी को सौरभ भारद्वाज ने आदेश दिया, लेकिन उन्‍होंने कहा कि मैं चुनी हुई सरकार के प्रति जवाब देह नहीं हूं, मेरा कोई बॉस नहीं है. अब हर सेक्रेटरी अपने तरीक़े से काम कर रहा है. इस अध्यादेश के ज़रिए चीफ़ सेक्रेटरी को पावर दे दिया गया है कि कैबिनेट के डिसिजन को पलट सकता है. आज तक भारत के इतिहास में ऐसा नहीं हुआ कि मंत्री के ऊपर सेक्रेटरी को बैठा दिया गया हो. अब सरकार के कमीशन में भी नियुक्ति का अधिकार केंद्र को दे दिया गया है.”

तमिलनाडु के मंत्री के ख़िलाफ़ प्रवर्तन निदेशालय की कार्रवाई पर सीएम केजरीवाल ने कहा, “भाजपा को अगर लगता है कि तमिलनाडु में डर फैलाकर मंत्रियों को गिरफ़्तार करके उनकी सीटें आ जाएंगी, तो वे ग़लत हैं. अब सीबीआई और ईडी की रेड होती है, तो लगता है कि उस आदमी ने कुछ ठीक ही किया होगा. सीबीआई  और ईडी सिर्फ भाजपा के इशारे पर ही काम कर रही है.” 

वहीं, 23 जून की विपक्षी दलों की मीटिंग में अध्यादेश पर चर्चा के विषय में अरविंद केजरीवाल ने कहा कि उस मीटिंग में न सिर्फ इस पर बात होगी, बल्कि वहां ये एक बड़ा एजेंडा होगा.

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