Chess World Cup 2023 Final R Praggnananda Plays First round draw with World Champion Magnus Carlsen | प्रज्ञानानंदा और कार्लसन के बीच पहली बाजी का रिजल्ट? आज होगी दूसरी जंग
भारतीय ग्रैंडमास्टर आर. प्रज्ञानानंदा ने अजरबेजान के बाकू में जारी चेस वर्ल्ड कप में अपना शानदार प्रदर्शन जारी रखा है। मंगलवार को चेस वर्ल्ड कप 2023 के फाइनल की पहली क्लासिकल बाजी में दुनिया के नंबर एक खिलाड़ी मैग्नस कार्लसन को बराबरी पर रोका। भारत के 18 साल के ग्रैंडमास्टर ने अपने से अधिक अनुभवी और बेहतर रैंकिंग वाले खिलाड़ी के खिलाफ प्रभावशाली प्रदर्शन किया और सफेद मोहरों से खेलते हुए विरोधी खिलाड़ी को 35 चाल के बाद ड्रॉ पर रोक दिया।
दूसरी बाजी में होगी कांटे की टक्कर!
इसके बाद प्रज्ञानानंदा ने कहा कि, मुझे नहीं लगता कि मैं किसी परेशानी में था। अब इस कांटे की टक्कर की दूसरी बाजी बुधवार को होगी। इस मुकाबले की दूसरी बाजी में कार्लसन सफेद मोहरों से शुरुआत करेंगे और फायदे की स्थिति में रहेंगे। प्रज्ञानानंद ने आगे यह भी कहा कि, मुझे लगा कि ‘आरबी आठ’ चाल में मुझे कुछ करना चाहिए था। लेकिन मैं अच्छी स्थिति में था और किसी जोखिम से बचना चाहता था। वहीं कार्लसन ने बुधवार को खेले जाने वाले दूसरे गेम के बारे में पूछे जाने पर कहा, यह एक संघर्षपूर्ण मुकाबला होगा। प्रज्ञानानंदा निश्चित रूप से बहुत कड़ी मेहनत करेंगे। मैं आराम करने और तरोताजा होने की कोशिश करूंगा।
R Praggnananda
इससे पहले भारतीय स्टार प्रज्ञानानंदा ने सेमीफाइनल में दुनिया के तीसरे नंबर के खिलाड़ी फाबियानो करूआना को 3-5, 2-5 से हराकर उलटफेर करते हुए फाइनल में जगह बनाई थी। प्रज्ञानानंदा महान खिलाड़ी विश्वनाथन आनंद के बाद विश्व कप फाइनल में जगह बनाने वाले सिर्फ दूसरे भारतीय खिलाड़ी हैं। वह 2024 में होने वाले कैंडिडेट्स टूर्नामेंट के लिए भी क्वालीफाई कर चुके हैं।
कैसा है हेड टू हेड रिकॉर्ड?
रमेशबाबू प्रज्ञानानंदा और मैगनस कार्लसन के बीच इससे पहले भी हर बार कांटे की टक्कर देखने को मिली है। हेड टू हेड रिकॉर्ड मेंकार्लसन आगे जरूर हैं लेकिन इस युवा भारतीय ने भी हार नहीं मानी है। दोनों के बीच अब तक कुल 19 मुकाबले खेले गए हैं जिसमें से कार्लसन ने 8 और प्रज्ञानानंदा ने 5 मुकाबले जीते हैं। जबकि 6 मुकाबले दोनों के बीच ड्रॉ रहे हैं। इस साल के जनवरी में आखिरी बार टाटा स्टील चैस चैंपियनशिप में दोनों के बीच मुकाबला हुआ था और वो ड्रॉ पर समाप्त हुआ था।