Congress Is Preparing To Attack The Modi Government On Issues Related To The Public In Parliament – कांग्रेस संसद के मानसून सत्र में जनता से जुड़े मुद्दों पर मोदी सरकार को घेरने की तैयारी में
दिल्ली में स्थित कांग्रेस मुख्यालय में हुई बैठक के बारे में जानकारी देते हुए कांग्रेस महासचिव एवं संचार, प्रचार व मीडिया विभाग के प्रभारी जयराम रमेश ने कहा कि शनिवार को करीब डेढ़ घंटे तक कांग्रेस की संसदीय रणनीति समूह की बैठक हुई. आगामी 20 जुलाई से शुरू हो रहे लोकसभा और राज्यसभा के मानसून सत्र में सरकार की तरफ से जो विधेयक पेश किए जाएंगे और जो मुद्दे कांग्रेस पार्टी की तरफ से उठाए जाएंगे, उन पर बैठक में चर्चा हुई.
मणिपुर हिंसा पर बहस हो
जयराम रमेश ने कहा कि कांग्रेस पार्टी इस मानसून सत्र में पांच-छह बड़े मुद्दों पर चर्चा चाहती है और बहस की मांग करेगी. संसद सत्र की शुरुआत में ही मणिपुर हिंसा पर बहस होना बेहद जरूरी है. कांग्रेस संसद के मानसून सत्र में मणिपुर हिंसा का मुद्दा उठाएगी. इस पर कांग्रेस अडिग है. प्रधानमंत्री मोदी को मणिपुर हिंसा पर अपनी चुप्पी तोड़नी चाहिए. प्रधानमंत्री मोदी की मौजूदगी में इस पर बहस होनी चाहिए. केंद्र और राज्य सरकार मणिपुर हिंसा को लेकर क्या कर रही हैं, इसे लेकर प्रधानमंत्री मोदी सांसदों को अवगत कराएं.
जयराम रमेश ने कहा कि दूसरा मुद्दा रेल सुरक्षा का है. मोदी सरकार द्वारा रेल सुरक्षा से समझौता किया जा रहा है. इसकी दुर्भाग्यपूर्ण मिसाल बालासोर रेल दुर्घटना है. कांग्रेस पार्टी बालासोर रेल दुर्घटना और रेल सुरक्षा पर चर्चा चाहेगी.
संघीय ढांचे पर आक्रमण के मुद्दे पर चर्चा की मांग
उन्होंने कहा कि आज संघीय ढांचे पर आक्रमण हो रहा है. मोदी सरकार और सरकार द्वारा चुने गए राज्यपालों द्वारा राज्य सरकारों पर आक्रमण हो रहा है. यह संविधान का उल्लंघन है. संवैधानिक संस्थाओं की स्वतंत्रता को खत्म किया जा रहा है. कांग्रेस पार्टी हमेशा इसके खिलाफ लड़ाई लड़ती रही है. संसद के अंदर और संसद के बाहर कांग्रेस पार्टी इसके खिलाफ अपनी लड़ाई जारी रखेगी. संघीय ढांचे पर हो रहे आक्रमण को लेकर कांग्रेस पार्टी संसद में चर्चा की मांग करेगी.
जयराम रमेश ने कहा कि, कांग्रेस पार्टी जीएसटी को पीएमएलए के दायरे में लाने को लेकर भी चर्चा की मांग करेगी. पहली बार पीएमएलए छोटे व्यापारियों पर भी लागू होगा. मोदी सरकार द्वारा बिना चर्चा किए, बिना जानकारी दिए मनमाने तरीके से यह निर्णय लिया गया है. यह दुर्भाग्यपूर्ण है. यह मुद्दा भी कांग्रेस संसद में उठाएगी.
बढ़ती महंगाई का मुद्दा उठाएगी कांग्रेस
उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी बढ़ती महंगाई के मुद्दे को भी संसद में उठाएगी. आज महंगाई लगातार बढ़ती जा रही है. दाल, चावल, टमाटर, सब्जियों समेत रसोई गैस के दाम बढ़ रहे हैं. आवश्यक वस्तुओं के बढ़ते दाम सभी परिवारों पर बोझ डाल रहे हैं.
जयराम रमेश ने कहा कि यूपीए सरकार के समय मनरेगा योजना लागू की गई थी. मनरेगा योजना को अलग-अलग बहाने बनाकर मोदी सरकार कमजोर कर रही है. डिजिटलाइजेशन के बहाने मनरेगा को खत्म किया जा रहा है. लोग रोजगार चाहते हैं, मगर रोजगार नहीं मिल रहा है. यह मुद्दा भी कांग्रेस पार्टी की तरफ से उठाया जाएगा.
महिला पहलवानों का उत्पीड़न
उन्होंने कहा कि महिला पहलवानों के उत्पीड़न का मुद्दा भी कांग्रेस पार्टी की तरफ से उठाया जाएगा. प्रधानमंत्री बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ का नारा देते हैं. मगर भाजपा सांसद पर लगाए गए आरोपों को लेकर कोई कार्रवाई नहीं होती. दिल्ली पुलिस द्वारा महिला पहलवानों के साथ दुर्व्यवहार किया गया. यह पूरे समाज पर कलंक है.
उन्होंने कहा कि असम में परिसीमन का मुद्दा और मध्यप्रदेश में दलितों एवं आदिवासियों पर अत्याचार जैसे राज्यों के मुद्दे भी सांसदों द्वारा उठाए जाएंगे.
दिल्ली आर्डिनेंस के विरोध के समर्थन पर खामोशी
एक बात तो तय है कि कांग्रेस केन्द्र सरकार द्वारा दिल्ली सरकार पर आए आर्डिनेंस का समर्थन कर ही नहीं सकती. ऐसा करेगी तो सीधे-सीधे बीजेपी के साथ खड़ी दिखेगी. फिर सिर्फ़ आम आदमी पार्टी (AAP) ही नहीं बल्कि दूसरी ‘समान विचारधारा’ वाली विपक्षी पार्टियां भी उसे नापसंद करने लगेंगी. लेकिन पेंच ये भी है कि कांग्रेस सीधे-सीधे ‘AAP के समर्थन में आर्डिनेंस का विरोध’ करते नहीं दिखना चाहती. उसे दिल्ली और पंजाब कांग्रेस की भावना का भी ख़्याल रखना है और ‘AAP की शर्त के सामने झुकते हुए नहीं दिखना’ है. इसलिए आज संसदीय रणनीतिक समूह की बैठक के बाद कांग्रेस ने ‘संघीय ढांचे पर केन्द्र के हमले का विरोध’ जैसी भाषा का इस्तेमाल किया है.