कोरोना वायरस से मरने वालों की संख्या बढ़ी

चीन में कोरोना वायरस के कहर से मरने वालों की संख्या 259 को पार कर गई है. अब तक 22 देशों में इसके संक्रमण के करीब 11800 मामले सामने आए हैं. विश्व स्वास्थ्य संगठन पहले ही इसे इमर्जेंसी घोषित कर चुका है. भारत में भी अब तक इसके दो मामले सामने आए हैं. स्वास्थ्य अधिकारियों के लिए इसे फैलने से रोकना एक बड़ी चुनौती बन गई है. हालांकि, चीन इसे रोकने के लिए हर मुमकिन कोशिश कर रहा है. दुनिया भर में कोरोना वायरस के केस लगातार सामने आने के बाद विश्व स्वास्थ्य संगठन यानी डब्लूएचओ ने कोरोना वायरस को अंतर्राष्ट्रीय आपातकाल घोषित किया है. इसे भी पढ़ें: कोरोना वायरस है अंतर्राष्ट्रीय इमरजेंसी: विश्व स्वास्थ्य संगठन चीन से बाहर 22 देशों में कोरोना वायरस के कई मामलों की पुष्टि हुई है. इन देशों में थाईलैंड, जापान, सिंगापुर, दक्षिण कोरिया, ऑस्ट्रेलिया, मलेशिया, अमेरिका, फ्रांस, जर्मनी और संयुक्त अरब अमीरात शामिल हैं. क्या है कोरोना वायरस? कोरोना वायरस (सीओवी) का संबंध वायरस के ऐसे परिवार से है, जिसके संक्रमण से जुकाम से लेकर सांस लेने में तकलीफ जैसी समस्या हो सकती है. इस वायरस को पहले कभी नहीं देखा गया है. इस वायरस का संक्रमण दिसंबर में चीन के वुहान में शुरू हुआ था. डब्लूएचओ के मुताबिक, बुखार, खांसी, सांस लेने में तकलीफ इसके लक्षण हैं. अब तक इस वायरस को फैलने से रोकने वाला कोई टीका नहीं बना है. क्या हैं इस बीमारी के लक्षण? इसके संक्रमण के फलस्वरूप बुखार, जुकाम, सांस लेने में तकलीफ, नाक बहना और गले में खराश जैसी समस्या उत्पन्न होती हैं. यह वायरस एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैलता है. इसलिए इसे लेकर बहुत सावधानी बरती जा रही है. यह वायरस दिसंबर में सबसे पहले चीन में पकड़ में आया था. इसके दूसरे देशों में पहुंच जाने की आशंका जताई जा रही है. क्या हैं इससे बचाव के उपाय? स्‍वास्‍थ्‍य मंत्रालय ने कोरोना वायरस से बचने के लिए दिशानिर्देश जारी किए हैं. इनके मुताबिक, हाथों को साबुन से धोना चाहिए. अल्‍कोहल आधारित हैंड रब का इस्‍तेमाल भी किया जा सकता है. खांसते और छीकते समय नाक और मुंह रूमाल या टिश्‍यू पेपर से ढककर रखें. जिन व्‍यक्तियों में कोल्‍ड और फ्लू के लक्षण हों उनसे दूरी बनाकर रखें. अंडे और मांस के सेवन से बचें. जंगली जानवरों के संपर्क में आने से बचें.

चीन में इस वायरस के चलते पर्यटकों की संख्या घट सकती है. इसका सीधा असर चीन की अर्थव्यवस्था पर पड़ेगा. पहले ही चीन की अर्थव्यवस्था सुस्ती के दौर में है. कई देशों ने अपने नागरिकों से कोरोना प्रभावित वुहान नहीं जाने के लिए कहा है. कई देशों ने वुहान से आने वाले लोगों पर भी प्रतिबंध लगा दिया है. रूस ने चीन के साथ अपने पूर्वी बॉर्डर को भी बंद कर दिया है. इसे भी पढ़ें: चीन से आयातित मोबाइल कंपोनेंट से कोरोना वायरस फैलने का डर! लगभग 18 साल पहले सार्स वायरस से भी ऐसा ही खतरा बना था. 2002-03 में सार्स की वजह से पूरी दुनिया में 700 से ज्यादा लोगों की मौत हुई थी. पूरी दुनिया में हजारों लोग इससे संक्रमित हुए थे. इसका असर आर्थिक गतिविधियों पर भी पड़ा था.

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