delhi election results why are votes reduced during counting in every evm know the reason behind it
Delhi Election Result: दिल्ली विधानसभा 2025 चुनावों के लिए 6 फरवरी को वोटिंग हो चुकी है. दिल्ली की कुल 70 विधानसभा सीटों पर वोट डाले गए. अब महज 24 घंटों के बाद यह स्थिति भी साफ हो जाएगी कि दिल्ली की सत्ता पर कौन काबिज होगा. आम आदमी पार्टी जीत की हैट्रिक लगाएगी या फिर बीजेपी अरसे बाद कमबैक करेगी. एग्जिट पोल के आधार पर देखें तो कांग्रेस रेस में दूर-दूर तक नहीं है.
कल यानी 8 फरवरी को वोटों की गिनती की जाएगी. और घोषणा कर दी जाएगी कौन सी पार्टी को कितने वोट मिले है, किस पार्टी ने किस सीट पर जीत दर्ज की है. बता दें ईवीएम के जरिए हुई वोटिंग में जब वोट काउंटिंग होती है. तो फिर पहले उसमें से कुछ वोट घटा दिए जाते हैं. जानें क्यों किया जाता है ऐसा. क्या है इसके पीछे का कारण.
क्यों घटाए जाते हैं गिनती के दौरान EVM से वोट?
भारत में वोटिंग के लिए EVM का इस्तेमाल होता है. EVM के जरिए वोटिंग प्रोसेस आसान होती है. और काउंटिग भी काफी आसान हो जाती है. लेकिन क्या आपको पता है. जब EVM से वोट काउंटिंग होती है. तो इस दौरान कुछ वोटों को घटा दिया जाता है. आप सोच रहे होंगे आखिर ऐसा क्यों किया जाता है. तो आपको बता दें. ऐसा चुनाव आयोग के नियमों के दायरे में रहकर किया जाता है.
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दरअसल जब किसी EVM में वोटिंग शुरू की जाती है. तो उससे पहले यह सुनिश्तिच किया जाता है कि EVM मशीन सही से काम कर रही है या नहीं. और इसी के लिए चुनाव में ड्यूटी दे रहे अधिकारीगण पहले वोट डालकर चेक करते हैं. अगर कैंडीडेट ज्यादा है तो सबके आगे का बटन दबाकर चेक किया जाता है कि मशीन सही से काम कर रही है. यह वोट रीसेट नहीं किए जा सकते इसलिए जब काउंटिग होती है. तब इन्हें उस दौरान घटा दिया जाता है.
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देना होता है पूरा लिखित ब्यौरा
भारतीय चुनाव आयोग की ओर से सभी पोलिंग बूथों को फॉर्म 17 सी जारी किया जाता है. इस फॉर्म में वोटिंग से रिलेटेड पूरी जानकारी दर्ज करनी होती है. उसमें इस बात का भी जिक्र करना होता है कि EVM मशीन की टेस्टिंग के दौरान कितने वोट डाले गए और किस पार्टी के उम्मीदवारों को कितने वोट दिए गए. फॉर्म में यह सभी जानकारी स्पष्ट तौर पर लिखनी होती है. वोटिंग के दौरान इसी के आधार पर बाद में हर EVM से उतने ही वोट घटा दिए जाते हैं.
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