Delhi Liquor ban Who was the CM of Delhi at the time of Liquor ban Know here
बिहार विधानसभा चुनाव से पहले एक बार फिर से शराबबंदी की चर्चा शुरू हो चुकी है. बिहार में जहां एक तरफ शराबबंदी को कुछ नेता और समाज अच्छा मानते हैं. वहीं कुछ नेता इसे राज्य का आर्थिक नुकसान भी कहते हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि आजादी के बाद राजधानी दिल्ली में भी शराबबंदी हुआ था. आज हम आपको बताएंगे कि उस वक्त दिल्ली का मुख्यमंत्री कौन था और शराबबंदी क्यों हुई थी.
Table of Contents
बिहार में शराबबंदी
बिहार विधानसभा चुनाव साल 2025 के अंत में होना है. लेकिन बिहार में राजनीतिक माहौल एक दम गर्म हो चुका है. विधानसभा चुनाव में शराबबंदी भी एक अहम मुद्दा है. बता दें कि बिहार में साल 2016 से नीतीश कुमार ने ही पूर्ण शराबबंदी लागू की है. बिहार में शराबंदी से जहां एक तरफ औरत खुश हैं, वहीं दूसरी तरफ वहां के पुरुष इसको लेकर सरकार से शिकायत करते हैं. चुनाव से पहले राजनीतिक पार्टियां भी शराबबंदी के जरिए वोट साधने की कोशिश कर रही हैं.
दिल्ली में भी हो चुकी है शराबबंदी
दिल्ली में आगामी 5 फरवरी को विधानसभा चुनाव होना है. विधानसभा चुनाव से पहले सभी राजनीतिक पार्टियां वोटर्स को लुभाने का प्रयास कर रही हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि भारत के संविधान अपनाने के बाद दिल्ली में पहले विधानसभा चुनाव 1952 में कराए गए थे. उस वक्त ये चुनाव देश के पहले लोकसभा चुनाव के साथ ही आयोजित कराए गए थे. उस समय दिल्ली विधानसभा में 48 सीटों के लिए चुनाव हुआ था. जिसमें कांग्रेस ने 37 पर जीत हासिल की थी. जिसके बाद चौधरी ब्रह्म प्रकाश दिल्ली के पहले मुख्यमंत्री बने थे.
दिल्ली के दूसरे सीएम बने निहाल सिंह
दिल्ली में चौधरी ब्रह्म प्रकाश के बाद गुरमुख निहाल सिंह ने मुख्यमंत्री का पद संभाला था. गुरमुख निहाल सिंह 13 फरवरी, 1955 से 31 अक्टूबर, 1956 तक पद पर रहे थे. उन्होंने बहुत छोटे कार्यकाल में कई अहम फैसले लिए थे. गुरमुख निहाल सिंह दरियागंज विधानसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करते थे. वह 1952 में विधानसभा गठन होने के बाद उसके पहले अध्यक्ष बने थे. गुरमुख निहाल सिंह सिख समुदाय के दिल्ली के पहले और इकलौते मुख्यमंत्री हैं.
दिल्ली में शराबबंदी लागू?
निहाल सिंह शराबबंदी के कट्टर समर्थक थे. उन्होंने सीएम बनने से पहले भी दिल्ली में शराब की दुकानें खोलने का विरोध किया था. वहीं सीएम पद संभालने के बाद दिल्ली में शराबबंदी लागू कर दी थी. उनके इस फैसले से राजधानी में हंगामा मच गया था. उस समय पीएम जवाहरलाल नेहरू ने इस मामले में गुरमुख निहाल सिंह को पत्र लिखा था. लेकिन निहाल सिंह ने दिल्ली में शराबबंदी से प्रतिबंध हटाने का फैसला वापस नहीं लिया था.
ये भी पढ़ें:हर बार 26 जनवरी को बजाया जाता था महात्मा गांधी का ये फेवरेट गाना, जानें इसे क्यों हटाया गया