Government Decids To Allow 2000 Primary Agricultural Credit Societies PACS To Open Pradhan Mantri Bhartiya Jan Aushadhi Kendras
Pradhan Mantri Bhartiya Jan Aushadhi Kendras: केंद्र सरकार ने देशभर में 2000 प्राथमिक कृषि ऋण समितियों (PACS) को प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र खोलने की अनुमति देने का अहम फैसला किया है. मंगलवार (6 जून) को दिल्ली में केंद्रीय गृह और सहकारिता मंत्री अमित शाह की रसायन और उर्वरक मंत्री मनसुख मांडविया के साथ हुई बैठक में यह फैसला लिया गया.
अमित शाह ने ट्वीट किया, ”सहकारिता क्षेत्र से संबंधित आज (6 जून को) एक बड़ा निर्णय लिया गया, जिससे अब PACS प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र भी खोल पाएंगे. इससे PACS से जुड़े लोगों की आय बढ़ेगी और ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को कम कीमत पर दवाइयां मिल पाएंगी.” शाह ने ट्वीट में आगे लिखा, ”मोदी सरकार सहकारिता क्षेत्र को सशक्त कर इससे जुड़े करोड़ों लोगों के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन ला रही है.”
2000 प्राथमिक कृषि ऋण समितियों की पहचान की जाएगी
सहकारिता मंत्रालय की ओर से जारी बयान के मुताबिक, देशभर में 2000 प्राथमिक कृषि ऋण समितियों की प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र के रूप में खोलने के लिए पहचान की जाएगी, इनमें से 1,000 जन औषधि केंद्र इस साल अगस्त तक और 1,000 दिसंबर तक खोले जाएंगे.
अभी तक खोले जा चुके हैं इतने केंद्र
बयान में कहा गया, ”देशभर में अभी तक 9,400 से ज्यादा प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र खोले जा चुके हैं. इनमें 1,800 प्रकार की दवाइयां और 285 अन्य मेडिकल डिवाइस उपलब्ध हैं. ब्रांडेड दवाइयों की तुलना में जन औषधि केंद्रों पर 50 फीसदी से 90 फीसदी तक कम कीमत पर दवाइयां उपलब्ध हैं.
प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र खोलने के लिए पात्रता मानदंड
सहकारिता मंत्रालय के बयान में आगे कहा गया, ”प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र खोलने के लिए पात्रता मानदंड के तहत व्यक्तिगत आवेदकों को डी. फार्मा/बी. फार्मा होना चाहिए. इसके लिए कोई भी संगठन, एनजीओ, धर्मार्थ संगठन और अस्पताल आवेदन के लिए बी. फार्मा/डी. फार्मा डिग्री धारकों को नियुक्त कर सकता है.”
बयान में कहा गया, ”प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र के लिए स्वयं या किराये का कम से कम 120 वर्ग फुट स्थान होना चाहिए. जन औषधि केंद्र के लिए आवेदन शुल्क 5,000 रुपये है. महिला उद्यमी, दिव्यांग, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और भूतपूर्व सैनिक विशेष श्रेणी में आते हैं. आकांक्षी जिले, हिमालयी पर्वतीय क्षेत्र, उत्तर-पूर्वी राज्य और द्वीप समूह विशेष क्षेत्र में हैं. विशेष श्रेणी और विशेष क्षेत्र के आवेदकों को आवेदन शुल्क में छूट है.
इसमें कहा गया कि प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र के लिए प्रोत्साहन राशि 5 लाख रुपये (मासिक खरीद का 15 फीसदी या अधिकतम रुपये 15,000 प्रति माह) है. विशेष श्रेणियों और क्षेत्रों में आईटी और इन्फ्रा व्यय के लिए प्रतिपूर्ति के रूप में 2 लाख रुपये की एक मुश्त अतिरिक्त प्रोत्साहन राशि भी प्रदान की जाती है.
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