Has India Entered The Realm Of Wet Bulb Temperature Know How It Affects Jobs
दुनिया का तापमान तेजी से बढ़ रहा है. पूरे भारत में लोग भीषड़ गर्मी का शिकार हो रहे हैं. हीटवेव से तो अब लोग अपनी जान भी गंवाने लगे हैं. दिल्ली और उत्तर प्रदेश में तापमान तो अब 40 डिग्री सेल्सियस के पार जाने लगा है, जबकि दक्षिण भारत में ये तापमान 42 से 43 डिग्री सेल्सियस के आस पास पहुंच चुका है. ये बढ़ता हुआ तापमान ही भारत को वेट-बल्ब की ओर धकेल रहा है.
क्या होता है वेट बल्ब टेंपरेचर
जब गर्मी का तापमान 35 डिग्री सेल्सियस से ऊपर पहुंच जाए तो उसे वेट बल्ब टेंपरेचर माना जाता है. जैसे ही कोई राज्य या देश इस वेट बल्ब की चपेट में आता है वहां कई तरह की समस्याएं उत्पन्न होने लगती हैं. इसकी वजह से शरीर का तापमान बढ़ने लगता है और लोग हाइपोथर्मियां के शिकार होने लगते हैं. यहां तक की इसकी वजह से कई लोग अपनी नौकरी भी गंवा देते हैं. कितने लोगों का रोजगार बंद हो जाता है. यानी ये वेट बल्ब ना सिर्फ हमें शारीरिक तौर पर तोड़ता है, बल्कि ये हमें आर्थिक रूप से भी कमजोर कर देता है.
इससे लोगों का रोजगार कैसे जा रहा?
इंडिया टाइम्स में छपी एक खबर के अनुसार, वेट बल्ब टेंपरेचर की वजह से देश में तेजी से लोगों का रोजगार जा रहा है. दरअसल, वेट बल्ब टेंपरेचर की वजह से जो लोग दिनभर बाजार में रेड़ी पटरी लगाते थे, तेज धूप और भीषड़ गर्मी के कारण उनकी दुकाने नहीं लग रही. जो लोग दुकान किसी ना किसी तरह से लगा ले रहे तो वहां ग्राहक नहीं आ रहे. वहीं तेज गर्मी की वजह से लोग मजदूरी नहीं कर पा रहे हैं. फरवरी से अगस्त तक का महीना उन मजदूरों के लिए बेहतर होता है जो घर बनाने का काम करते हैं, लेकिन इस बार भीषड़ गर्मी की वजह से तेज धूप में मजदूर मजदूरी नहीं कर पा रहे हैं, जिससे उन्हें आर्थिक रूप से काफी नुकसान हो रहा है.
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