Iran attack on Israel: क्‍या होता है क्‍लस्‍टर बम, जिससे ईरान ने इजरायल पर क‍िया अटैक?


हमास चीफ इस्‍माइल हान‍िया और ह‍िजबुल्‍लाह चीफ हसन नसरल्‍लाह की मौत के बाद ईरान ने इजरायल ताबड़तोड़ पर हमला क‍िया. उसने क्‍लस्‍टर बमों से न‍िशाना बनाया. ऐसे में सवाल है क‍ि आख‍िर क्‍या होता है ये क्‍लस्‍टर बम? इनकी मारक क्षमता क‍ितनी होती है?

कुछ दिनों पहले जब अमेर‍िका ने ये ऐलान क‍िया था क‍ि वो यूक्रेन को क्‍लस्‍टर बम सप्‍लाई करने जा रहा है, तो इसके बाद रूस की हालत खराब हो गई थी. क्‍योंक‍ि ये इतने घातक होते हैं क‍ि 100 से ज्‍यादा देशों ने इन क्‍लस्‍टर बमों के इस्‍तेमाल पर पाबंद‍ी लगा रखी है.

क्‍लस्‍टर बम एक ऐसा हथ‍ियार होता है, जिसमें कई छोटे-छोटे बम रखे जाते हैं. ये बम मिसाइल के ऊपरी ह‍िस्‍से में फ‍िट क‍िए जाते हैं और जब मिसाइल फटती है, तो एक साथ कई बम फटते हैं, जिन्‍हें कंट्रोल कर पाना काफी मुश्क‍िल होता है. छोटे बमों को सबम्यूनिशन या बॉम्बलेट्स कहा जाता है. इन बमों को फाइटर जेट, बमवर्षक विमानों के अलावा मिसाइलों से छोड़ा जा सकता है.

क्‍लस्‍टर बमों का सबसे ज्‍यादा इस्‍तेमाल द्व‍ितीय विश्व युद्ध के दौरान हुआ था. विमानों से इसे ग‍िराकर काफी नुकसान पहुंचाया गया था. कई बार इनमें मौजूद छोटे-छोटे बम नहीं फटते हैं और बाद में जब कोई इंसान इनके संपर्क में आता है, तो धमाके होते हैं. दुन‍िया में 34 देशों के पास 200 अलग अलग तरह के क्‍लस्‍टर बम हैं. इनका वजन 20 क‍िलोग्राम से ज्‍यादा नहीं होता.

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