Vice President Jagdeep Dhankhar Said Present Governance Of India As Geeta Governance – भारत की जो वर्तमान गवर्नेंस है, उसको मैं गीता गवर्नेंस कह सकता हूं: उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़
नई दिल्ली:
उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ (Vice President Jagdeep Dhankhar) ने अन्तर्राष्ट्रीय गीता महोत्सव का रविवार को उद्घाटन किया. कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित 8वीं अंतरराष्ट्रीय गीता संगोष्ठी को मुख्य अतिथि के रूप में संबोधित करते हुए उपराष्ट्रपति ने कहा कि दूसरे विश्व युद्ध के बाद दुनिया ने इतनी पीड़ा कभी नहीं देखी जितनी आज देख रही है, आज हम ज्वालामुखी के मुहाने पर बैठे हैं, एक तरफ़ इसराइल और हमास का युद्ध तथा दूसरी तरफ यूक्रेन और रूस का युद्ध है.
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उपराष्ट्रपति ने कहा कि भारतवर्ष की जो वर्तमान गवर्नेंस है, उसको मैं गीता गवर्नेंस कह सकता हूं. भगवान श्री कृष्ण ने कहा था कि अर्जुन तेरे सामने कौन है? रिश्तेदार होंगे, गुरुजन होंगे, प्रियजन होंगे, मित्र होंगे! पथभ्रष्ट मत हो, कर्तव्य को मत छोड़ो, कर्तव्य को करते रहो! भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज यही कर रहे हैं!
भारतवर्ष की जो वर्तमान गवर्नेंस है, उसको मैं गीता गवर्नेंस कह सकता हूं।
भगवान श्री कृष्ण ने कहा अर्जुन तेरे सामने कौन है?
रिश्तेदार होंगे, गुरुजन होंगे, प्रियजन होंगे, मित्र होंगे! पथभ्रष्ट मत हो, कर्तव्य को मत छोड़ो, कर्तव्य को करते रहो!
भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी… pic.twitter.com/kmpOuM5eK5
— Vice President of India (@VPIndia) December 17, 2023
उपराष्ट्रपति ने कहा गीता की फिलॉसफी जितनी प्रासंगिक आज है उतनी इससे पहले कभी नहीं थी. उन्होंने आगे कहा कि भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने बातचीत के माध्यम से युद्ध को रोकने के लिए हर संभव प्रयास करने की बात कही थी, उन्होंने यह भी कहा कि हम एक विस्तारवादी काल में नहीं रह रहे हैं. प्रधानमंत्री जी की यह सलाह गीता के दर्शन पर आधारित है. भारत का संविधान गीता के दर्शन पर आधारित है, गीता हमें एकता का पाठ पढ़ाती है.
उपराष्ट्रपति ने कहा कि भारत वर्ष की वर्तमान शासन व्यवस्था को गीता गवर्नेंस कहा जा सकता है क्योंकि यह समावेशी है, सबका साथ सबका विकास में विश्वास रखता है और सबको कानून की नजर में बराबर रखता है. उपराष्ट्रपति ने आगे कहा कि भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी आज धर्म के मार्ग पर चलकर अपना काम कर रहे हैं जैसाकि भगवान श्री कृष्ण ने अर्जुन को ज्ञान देते हुए कहा था, प्रधानमंत्री आज इसी पथ का अनुसरण कर रहे हैं.
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